इस बार आसान नहीं होगी मेडिकल प्रवेश परीक्षा NEET की राह

मेडिकल एडमिशन की कॉमन प्रवेश परीक्षा में 11 लाख से ज्यादा आवेदन हुए

 

एमबीबीएस और बीडीएस में एडमिशन के लिए तैयारी कर रहे स्टूडेंट्स के लिए इस बार नेशनल एलिजबिलिटी कम एंटेंस टेस्ट(NEET) से सीट पाना बेहद मुश्किल होने जा रहा है। सीबीएसई के आंकड़ों पर गौर करें तो इस साल नीट आवेदनों की संख्या में 41 प्रतिशत से अधिक की बढ़ोतरी दर्ज की गई है।

सीबीएसई की ओर से जारी डाटा के मुताबिक, वर्ष 2016 में नीट में देशभर से कुल 8,02,594 कैंडिडेट्स शामिल हुए थे। इस साल इनकी संख्या बढ़कर 11,35,104 पर पहंुच गई है। कैंडिडेट्स की संख्या में सीधे तौर पर 41.42 परसेंट की बढ़ोतरी हो गई है।

कटऑफ बढ़ाएगी परेशानी

इस बार कैंडिडेट्स की संख्या में इतनी बढ़ोतरी होने का नुकसान यह होगा कि कटऑफ काफी अधिक आ सकती है। एक्सपर्ट्स की मानें तो इतनी संख्या बढ़ी है तो निश्चित तौर पर इस बार कटऑफ अधिक आएगी।

नीट 2016 ऑल इंडिया कटऑफ पर नजर

  • सामान्य – 468 (14315 चयनित)
  • सामान्य पीएच – 214 (430 चयनित)
  • ओबीसी – 465 (230 चयनित)
  • ओबीसी पीएच – 210 (10 चयनित)
  • एससी – 352 (2815 चयनित)
  • एससी पीएच – 130 (75 चयनित)
  • एसटी – 303 (1427 चयनित)
  • एसटी पीएच – 118 (23 चयनित)

क्यों बढ़ी कैंडिडेट्स की संख्या

दरअसल, एमबीबीएस और बीडीएस एडमिशन में इस साल से कॉमन प्रवेश परीक्षा का नियम पूर्ण रूप से लागू हो गया है। इसके तहत देश के किसी भी सरकारी या प्राइवेट मेडिकल कॉलेज में(एम्स को छोड़कर)  नीट के स्कोर के बिना एडमिशन मान्य नहीं होगा। इसके अलावा, इस साल नीट के स्कोर से ही बीएएमएस, बीएचएमएस, बीयूएमएस, बीवीएससी एंड एनिमल हस्बैंडरी के कोर्स में भी एडमिशन किया जाएगा। यह भी प्रवेश परीक्षाएं बंद हो चुकी हैं। इससे स्टूडेंट्स की संख्या बढ़ गई है।

 

यह भी पढ़ें-

बढ़े कैंडिडेट्स के लिए सीबीएसई ने 23 शहरों में बनाए परीक्षा केंद्र

 

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *